My Diary
Total Pageviews
Tuesday, October 29, 2013
कहीं ऐसे ही मर न जाए ये दीवाना तेरा
ये तेरे लब तेरे रुखसार और मुस्कुराना तेरा
तेरी चाहत में बन गया हूँ अब दीवाना तेरा
हो सके तो क़रीब आ छुले मेरी धड़कन को
कहीं ऐसे ही मर न जाए ये दीवाना तेरा
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment